darbhanga दरभंगा बिहार राज्य के पूर्वी बिहार में स्थित एक प्रमुख जिला है। यह बिहार के मध्य प्रदेश में स्थित है और मिथिला क्षेत्र में अपनी महत्वपूर्णता रखता है। दरभंगा जिला का मुख्यालय दरभंगा शहर है

दरभंगा बिहार राज्य के पूर्वी बिहार में स्थित एक प्रमुख जिला है। यह बिहार के मध्य प्रदेश में स्थित है और मिथिला क्षेत्र में अपनी महत्वपूर्णता रखता है। दरभंगा जिला का मुख्यालय दरभंगा शहर है।

दरभंगा का इतिहास विशेष रूप से मिथिला के सांस्कृतिक और ऐतिहासिक महत्व के कारण महत्वपूर्ण है। यहां कई प्राचीन मंदिर, गलियारे और मिथिला कला के प्रमुख केंद्र स्थित हैं। दरभंगा में एक प्रमुख पर्यटन स्थल है महावीर मंदिर, जहां माता सती सतीकुंवर की पूजा की जाती है। यहां के अन्य प्रमुख धार्मिक स्थलों में श्रीनगर धाम, खंडिहार और चंडी मंदिर शामिल हैं।

दरभंगा में शिक्षा क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण प्रगति हुई है। यहां के मिथिला विश्वविद्यालय एक प्रमुख शिक्षा संस्थान है जो

Champaran चम्पारण बिहार राज्य के पश्चिम बिहार में स्थित एक प्रमुख जिला है। यह जिला भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के ऐतिहासिक मोर्चे के रूप में महत्वपूर्ण है।

चम्पारण बिहार राज्य के पश्चिम बिहार में स्थित एक प्रमुख जिला है। यह जिला भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के ऐतिहासिक मोर्चे के रूप में महत्वपूर्ण है। चम्पारण जिले का मुख्यालय बेतिया है और यह जिला पश्चिमी बिहार की सीमा पर नेपाल के पास स्थित है।

चम्पारण का इतिहास महात्मा गांधी के आंदोलन के संबंध में महत्वपूर्ण है। चम्पारण जिले में 1917 ईसवी में महात्मा गांधी द्वारा चलाए गए असहिष्णुता और अभिशाप विरोधी आंदोलन की घटना घटी। यहां के किसानों द्वारा आयोजित किये गए आंदोलन में गांधीजी ने समर्थकता प्राप्त की थी और

इसे चम्पारण सत्याग्रह के नाम से जाना जाता है। यह आंदोलन भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में एक महत्वपूर्ण पथप्रदर्शक घटना रहा है जिसने असहिष्णुता, उत्पीड़न और गरीबी के खिलाफ आवाज उठाई।

चम्पारण जिले में ऐतिहासिक महत्व के कई स्थान हैं। चम्पारण सत्याग्रह स्मारक एक स्मारकिक स्थल है

खुशखबरी : मुजफ्फरपुर-छपरा राष्ट्रीय राजमार्ग 68 किमी तक फोरलेन में बदलेगा

मुजफ्फरपुर से छपरा टू लेन एनएच को अब चार लेन में बदला जाएगा। भारतीय राजमार्ग मंत्रालय से इसकी स्वीकृति मिल गई है। इसके साथ ही एनएचएआई ने डीपीआर बनाने के लिए कंसल्टेंट की बहाली भी कर ली है।

कंसल्टेंट को छह माह में डीपीआर बनाकर एनएचएआई को सौंप देना है। इसके बाद इसका एसआईए (सोशल इकोनोमिक एसेसमेंट) कराने के बाद जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया भी शुरू हो जाएगी। अब तक एनएचएआई ने मुजफ्फरपुर-छपरा फोरलेन का जो खाका तैयार किया है, उसके अनुसार 75 किलोमीटर लम्बी इस सड़क में से 68 किलोमीटर की फोरलेनिंग की जाएगी। यह सड़क छपरा से शुरू होकर पताही हवाई अड्डा से पहले मधौल-सदातपुर बाइपास में मिलकर खत्म हो जाएगी।

इस 68 किलोमीटर सड़क को ही फोरलेन किया जाएगा, ताकि छपरा से आने वाले वाहन हाजीपुर की ओर और वाया सदातपुर उत्तर की ओर बढ़ जायें। एनएचएआई के कार्यपालक अभियंता ने इसकी रिपोर्ट जिलाधिकारी प्रणव कुमार को दी है।

बाइपास से भगवानपुर तक चौड़ीकरण का प्रस्ताव

योजना के अनुसार पताही हवाई अड्डे तक जमीन की उपलब्धता के कारण एनएचएआई वहां तक तो फोरलेन बनायेगा, लेकिन हवाई अड्डे के पास से भगवानपुर गोलम्बर तक की सड़क का भी चौड़ीकरण किया जाएगा। इस करीब सात किलोमीटर लम्बी सड़क के दोनों ओर एनएचएआई के पास उपलब्ध जमीन से ही काम चलाया जाएगा, जबकि भगवानपुर में यह थोड़ी और चौड़ी होगा और यहां पुल के दोनों तरफ सर्विस लेन को ही मजबूत किया जाएगा। इससे जाम से निजात मिलेगी।

छपरा से हवाई अड्डे तक बनेंगे कई अंडरपास

छपरा से मुजफ्फरपुर 68 किलोमीटर फोरलेन में कई अंडरपास बनाने की योजना है। इसके तहत सबसे पहले सरैया व मनिकपुर चौक जाने वाली सड़क के चौराहे पर अंडरपास दिया जाएगा। इसके बाद मड़वन व करजा में भी अंडरपास बनाने की योजना है। इन दोनों जगहों पर दोनों तरफ सड़क है और आगे घनी आबादी है। घनी आबादी को गांव में जाने में परेशानी न हो, इसके लिए अंडरपास बनाने की योजना है। एनएचएआई ने कंसल्टेंट कंपनी को फिलहाल सर्वे कर रिपोर्ट देने के लिए कहा है और इस फोरलेन के स्वरूप को डीपीआर मिलने के बाद ही अंतिम रूप दिया जाएगा।